

बलरामपुर: जिला शिक्षा अधिकारी ने शासकीय प्राथमिक शाला कन्या आश्रम पशुपतिपुर (विकासखंड वाड्रफनगर) की प्रधान पाठक सुमित्रा सिंह को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया गया है। यह कार्रवाई उनके खिलाफ प्राप्त शिकायतों की जांच रिपोर्ट के आधार पर की गई है।
कलेक्टर (आदिवासी विकास) बलरामपुर–रामानुजगंज के प्रस्ताव और जांच समिति की रिपोर्ट के अनुसार, सिंह का व्यवहार संस्था के कर्मचारियों के प्रति अमर्यादित पाया गया है। रिपोर्ट में कहा गया है कि उन्होंने कर्मचारियों को मानसिक रूप से प्रताड़ित किया,अभद्र भाषा का प्रयोग किया तथा शासन द्वारा निर्धारित दिशा-निर्देशों का उल्लंघन किया।जांच में यह भी पाया गया कि आश्रम के बच्चों को पोषण हेतु पर्याप्त खाद्य सामग्री उपलब्ध नहीं कराई जा रही थी। साथ ही शासन के आदेशों के बावजूद अपने पति के साथ अधीक्षक आवास में निवास कर रही थीं, जो नियमों का उल्लंघन है।24 सितम्बर 2025 को भारमुक्त किए जाने के बावजूद उन्होंने आश्रम के भंडार कक्ष में ताला लगाकर अपने अधिपत्य में रखा जिससे बच्चों के भोजन और बुनियादी सुविधाओं में बाधा उत्पन्न हुई। जब उन्हें कारण बताओ नोटिस जारी किया गया, तो उन्होंने उसे **स्वीकार करने से इंकार कर दिया।
इन आरोपों को छत्तीसगढ़ सिविल सेवा आचरण नियम 1965 के नियम-3 का स्पष्ट उल्लंघन मानते हुए, जिला शिक्षा अधिकारी ने छत्तीसगढ़ सिविल सेवा (वर्गीकरण, नियंत्रण एवं अपील) नियम 1966 के अंतर्गत अनुशासनात्मक कार्रवाई आरंभ की है।निलंबन अवधि में सुमित्रा सिंह का मुख्यालय विकासखंड शिक्षा अधिकारी, रामचंद्रपुर निर्धारित किया गया है। उन्हें नियमानुसार जीवन निर्वाह भत्ता प्राप्त होगा।






















