अंबिकापुर: सरगुजा जिले में महिला थाना अंतर्गत स्थित पुलिस परिवार परामर्श केंद्र ने घरेलू विवादों का समाधान करते हुए चार विवाहित जोड़ों के बीच आपसी सुलह कराई। इस पहल से न केवल परिवारों में तनाव कम हुआ, बल्कि पुलिस द्वारा किए गए समर्पित प्रयासों से पति-पत्नी के बीच के विवादों को शांत किया गया।

घरेलू हिंसा या पारिवारिक समस्याओं का सामना कर रही महिलाओं के लिए पुलिस परिवार परामर्श केंद्र एक संजीवनी साबित हो रहा है। यहां महिलाओं को त्वरित सहायता मिलती है, साथ ही उन्हें अपनी समस्याओं के समाधान के लिए एक मंच भी प्रदान किया जाता है। केंद्र में सुरक्षित और सहायक वातावरण प्रदान किया जाता है, जिससे महिलाएं बिना किसी डर के अपनी समस्याओं को साझा कर सकती हैं।

इस पहल के तहत चार मामलों में परिवार परामर्श केंद्र द्वारा त्वरित कॉउंसलिंग की गई। इन मामलों में पति-पत्नी के बीच आपसी मतभेद थे, जिन्हें केंद्र की टीम ने सुनकर सुलझाया। अधिकतर मामलों में छोटे-मोटे मनमुटाव और गलतफहमियां थीं, जिन्हें परिवार परामर्श केंद्र के प्रशिक्षित और अनुभवी टीम ने ध्यान से सुना और समाधान दिया। इसके अलावा, महिला थाना प्रभारी उप निरीक्षक सुनीता भारद्वाज और उनकी टीम ने इन मामलों को गंभीरता से लेकर उचित मार्गदर्शन और समझाइश दी। चारों मामलों में पति-पत्नी को एक साथ रहने और आपसी सम्मान बनाए रखने के लिए राजी किया गया। यह समाधान दोनों पक्षों की सहमति से हुआ, और विवादों की स्थिति समाप्त कर दी गई।

इस कार्यवाही के तहत वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक  राजेश अग्रवाल ने महिला थाना अंतर्गत पुलिस परिवार परामर्श केंद्र को विशेष दिशा-निर्देश दिए थे, ताकि विवादों का स्थाई समाधान संभव हो सके। उन्होंने पुलिस परिवार परामर्श केंद्र के माध्यम से त्वरित और प्रभावी समाधान की प्रक्रिया को और तेज करने का आदेश दिया था।इस पहल में पुलिस परिवार परामर्श केंद्र की टीम में महिला थाना प्रभारी उप निरीक्षक सुनीता भारद्वाज, कॉउंसलर मीरा शुक्ला, आशा उपाध्याय, प्रधान आरक्षक संतोष गुप्ता, महिला आरक्षक रीना दास, दिव्या और आरक्षक किशोर तिवारी की सक्रिय भूमिका रही।

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