नई दिल्ली/रायपुर: बहुचर्चित CGPSC Scam मामले में सुप्रीम कोर्ट ने बड़ी राहत दी है। कोर्ट ने बुधवार को कई आरोपियों को जमानत दे दी। जमानत पाने वालों में छत्तीसगढ़ लोक सेवा आयोग (CGPSC) के पूर्व अध्यक्ष टामन सोनवानी के बेटे साहिल सोनवानी, नितेश सोनवानी, बजरंग स्पात कंपनी के डायरेक्टर के पुत्र शशांक गोयल और उनकी पत्नी भूमिका कटियार शामिल हैं। आरोपियों की ओर से सुप्रीम कोर्ट में वरिष्ठ अधिवक्ता सिद्धार्थ लूथरा, सिद्धार्थ अग्रवाल और शशांक मिश्रा ने पैरवी की।

CBI की जांच और कार्रवाई

इस मामले की जांच CBI कर रही है। जांच एजेंसी ने पहले ही CGPSC के तत्कालीन अध्यक्ष टामन सिंह सोनवानी, बजरंग पावर एंड इस्पात कंपनी के निदेशक श्रवण कुमार गोयल, उनके बेटे शशांक गोयल, बहू भूमिका कटियार और तत्कालीन उप नियंत्रक परीक्षा ललित गणवीर, निशा कोसले, दीपा आदिल और सुमित ध्रुव को गिरफ्तार किया था।
CBI ने सभी पर परीक्षा में धांधली का आरोप लगाते हुए करीब 1500 पन्नों की चार्जशीट कोर्ट में दाखिल की थी, जिसे विशेष CBI कोर्ट ने स्वीकार भी कर लिया था।

क्या है CGPSC घोटाला?

CGPSC Scam साल 2020 से 2022 के बीच आयोजित लोक सेवा आयोग की परीक्षाओं से जुड़ा है। इन परीक्षाओं में डिप्टी कलेक्टर, डीएसपी सहित कई पदों पर चयन में कथित गड़बड़ियां सामने आई थीं। आरोप था कि चयन प्रक्रिया में टामन सोनवानी के रिश्तेदारों और कुछ VIP उम्मीदवारों को अनुचित लाभ दिया गया।

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