

अंबिकापुर: सरगुजा जिले के दरिमा थाना क्षेत्र के ग्राम कुम्हरता घाघी में घटित बुजुर्ग दंपति की हत्या के मामले में पुलिस ने मात्र कुछ घंटों में ही सनसनीखेज खुलासा कर दिया। इस जघन्य हत्याकांड के पीछे की वजह बेहद चौंकाने वाली रही आरोपियों ने महज बकरी चोरी करने के लिए निर्दोष बुजुर्ग दंपति की बेरहमी से हत्या कर दी थी।पुलिस ने इस वारदात में शामिल दोनों आरोपियों को गिरफ्तार कर उनके कब्जे से घटना में प्रयुक्त दो लोहे की टांगी भी बरामद की है
जानकारी के अनुसार 23 अक्टूबर 2025 को दरिमा पुलिस को सूचना मिली कि ग्राम कुम्हरता घाघी में एक घर के अंदर पति-पत्नी का शव पड़ा हुआ है। सूचना मिलते ही थाना प्रभारी दरिमा निरीक्षक राजेश खलखो अपनी टीम के साथ मौके पर पहुंचे और घटना स्थल का निरीक्षण किया।
मृतकों की पहचान रीमा लकड़ा एवं उनकी पत्नी उर्मिला उर्फ जूली लकड़ा के रूप में हुई, जो गांव के ही निवासी थे।
घटना की जानकारी मृतक के छोटे भाई दुहन लकड़ा ने पुलिस को दी। उन्होंने बताया कि उनका बड़ा भाई और भाभी खेतिहर मजदूर थे तथा दोनों अकेले ही रहते थे। 22 अक्टूबर की शाम वे रोज की तरह बकरियां चराकर लौटे और घर में विश्राम करने चले गए।अगली सुबह पड़ोसी घुरसाय लकड़ा किसी काम से जब उनके घर पहुंचे तो देखा कि दरवाजे में सिटकनी लगी है। आवाज देने पर भी कोई जवाब नहीं मिलने पर उन्होंने सिटकनी खोलकर अंदर प्रवेश किया तो दंग रह गए। घर के परछी में पति-पत्नी दोनों का शव खून से लथपथ हालत में पड़ा था और घर में रखी बकरियां गायब थीं।तुरंत इसकी सूचना दुहन लकड़ा को दी गई, जिन्होंने मौके पर पहुंचकर पूरी घटना पुलिस को बताई। इस आधार पर थाना दरिमा में अपराध क्रमांक 159/25, धारा 103(1) बीएनएस के तहत हत्या का अपराध पंजीबद्ध किया गया।
घटना की गंभीरता को देखते हुए वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक सरगुजा राजेश कुमार अग्रवाल ने तत्काल कार्रवाई के निर्देश जारी किए। उन्होंने दरिमा थाना पुलिस एवं साइबर सेल की संयुक्त टीम गठित कर आरोपियों की शीघ्र गिरफ्तारी का आदेश दिया।टीम ने मौके का बारीकी से निरीक्षण किया, आसपास के ग्रामीणों से पूछताछ की, मोबाइल लोकेशन और अन्य तकनीकी साक्ष्य जुटाए।टीम के अथक प्रयासों से कुछ ही घंटों में आरोपियों की पहचान करीमन मझवार (42 वर्ष) एवं जय श्याम मझवार (28 वर्ष), दोनों निवासी पम्पापुर थाना दरिमा, के रूप में हुई।दोनों आरोपी मृतक दंपति के परिचित थे और पहले भी गांव आते-जाते रहते थे। पुलिस ने जब उन्हें हिरासत में लेकर पूछताछ की, तो उन्होंने अपना अपराध स्वीकार कर लिया।
पूछताछ में आरोपियों ने बताया कि वे बकरी चोरी की योजना बनाकर 22 अक्टूबर की रात लगभग 11 बजे मृतक के घर पहुंचे। दरवाजा खटखटाने पर रीमा लकड़ा ने उन्हें पहचान लिया और रात में वहीं रुकने की अनुमति दे दी।
जब दोनों पति-पत्नी सो गए, तब आरोपीगण चोरी की नीयत से उठे। इसी दौरान उन्होंने घर में रखी कुल्हाड़ी (टांगी) उठाई और जय श्याम ने उर्मिला लकड़ा के सिर पर वार किया, जबकि करीमन मझवार ने रीमा लकड़ा पर प्राणघातक हमला किया। दोनों की मौके पर ही मृत्यु हो गई।इसके बाद आरोपी घर में रखे एक बकरा को मारकर अपने साथ ले गए। बताया गया कि वे रात दो बजे तक गांव धटीलड़ाड़ पहुंचे और अपने परिचित शंकर मझवार के घर में सोए। अगले दिन उन्होंने बकरा का मांस खा लिया और कुछ मांस आसपास के गांव में बेच दिया।पुलिस टीम ने आरोपियों की निशानदेही पर घटना में प्रयुक्त दो लोहे की टांगी बरामद की।
दोनों आरोपियों को गिरफ्तार कर न्यायालय में पेश किया गया, जहां से उन्हें न्यायिक रिमांड पर जेल भेज दिया गया है।






















