कोरबा। जिले के ग्राम पंचायत जिल्गा से एक हैरान कर देने वाला मामला सामने आया है, जहां एक गरीब परिवार को महज दस हजार रुपए के लेन-देन के बाद गांव से निकाल दिया गया। पीड़ित चेतराम चौहान का आरोप है कि गांव के ही अनफाज खान ने न सिर्फ उनका राशन कार्ड गिरवी रख लिया, बल्कि अब उन्हें गांव में घुसने भी नहीं दिया जा रहा है। पीड़ित चेतराम ने बताया कि कुछ साल पहले उन्होंने अनफाज खान से 10,000 रुपये उधार लिए थे। बदले में परिवार का राशन कार्ड गिरवी रखा गया था। समय के साथ कुछ रकम चुकाने के बावजूद अनफाज न तो कार्ड लौटा रहा है, न ही परिवार को चैन से जीने दे रहा है। उल्टे धमकी, गाली-गलौज और मारपीट की घटनाएं हो रही हैं। चेतराम ने आरोप लगाया कि अनफाज खान गांव में कई गरीब परिवारों के साथ इसी तरह का व्यवहार कर रहा है। राशन कार्ड गिरवी रखकर दबाव बनाना, डराना और ज़मीन-जायदाद पर नजर रखना उसकी आदत बन चुकी है।पीड़ित चेतराम चौहान अपनी पत्नी, बुजुर्ग मां और छोटे-छोटे बच्चों के साथ इन बरसाती दिनों में दर-दर भटकने को मजबूर है। परिवार ने रोते-बिलखते हुए जिला कलेक्टर कार्यालय पहुंचकर न्याय की गुहार लगाई। चेतराम का कहना है, “हम कहां जाएं? गांव लौटने पर जान का खतरा है, बच्चे भूखे हैं, इंसानियत नाम की कोई चीज़ नहीं बची।”पीड़ित परिवार ने प्रशासन से मांग की है कि दबंग के खिलाफ सख्त कार्रवाई हो, राशन कार्ड वापस दिलाया जाए और ऐसे लोगों पर नजर रखी जाए जो गरीबों की मजबूरी का फायदा उठाकर उन्हें शोषित कर रहे हैं।

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